सृष्टि जगत के श्रद्धालुजन
सरयू तट पर आएंगे ।
दरस-परस मज्जन कर जल का
पुण्य-पुंज खिलाएंगे ।
भारतीय संस्कृति संरक्षित कर
मंगलदीप जलाएंगे ।
अवध धाम की पावनता का
वैश्विक मान बढ़ाएंगे ।
रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का
पूर्ण आनंद मनाएंगे ।
प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव पर
धन्य - धन्य हो जाएंगे ।
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र
गौरवमयी बनाएंगे ।
दशविधि स्नान आत्मशुद्धि से
अनुष्ठान कराएंगे ।
अनुष्ठान में शामिल होकर
जीवन धन्य बनाएंगे ।
विष्णु पूजन पंचगव्यप्रासन
गोदान परंपरा निभाएंगे ।
सृष्टि के देवता गोवर्धन को
गौरवान्वित कराएंगे ।
वैदिक धर्म का निर्वाहन कर
सुख मंगल वर्षाएंगे ।
स्वयं तरेंगे स्नेह भाव से
पितरों को भी तराएंगे ।
प्राणाहुति रामभक्तों को
श्रद्धासुमन चढ़ाएंगे ।
रामलला की प्रतिमा लेकर
कलश यात्रा जाएंगे ।
मंडप प्रवेश वास्तु पूजन से
वरूण देव हर्षाएंगे ।
विघ्नहर्ता गणेश का आह्वान कर
मातृका पूजन कराएंगे ।
रामलला की पूज्य मूर्ति का
जलाधिवास कराएंगे ।
दीप प्रज्ज्वलित कर यज्ञवेदी पर
पूजन- हवन कराएंगे ।
यज्ञाग्नि अरणि मंथन कर
वैदिक मंत्र गूजाएंगे ।
अमृत जल से अभिसिंचित कर
पावन पवित्र बनाएंगे ।
वास्तुशांति अन्नाभिषेक कर
शैय्याधिवास कराएंगे ।
रामायण के काकभुशुण्डि का
पुण्य प्रताप बताएंगे ।
सुमेरू पर्वत कुबेर टीला की
महिमा का गुण गाएंगे ।
सृष्टि जगत के श्रद्धालुजन
सरयू तट पर आएंगे ।
दरस-परस मज्जन कर जल का
पुण्य-पुंज खिलाएंगे ।
भारतीय संस्कृति संरक्षित कर
मंगलदीप जलाएंगे ।
अवध धाम की पावनता का
वैश्विक मान बढ़ाएंगे ।
रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का
पूर्ण आनंद मनाएंगे ।
प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव पर
धन्य- धन्य हो जाएंगे ।
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र
गौरवमयी बनाएंगे ।